जन्मतिथि में उपस्थित पंचतत्वों मे कमी या अधिकता के कारण वास्तु के कुछ नियम किस प्रकार
बदल जाते है और किस प्रकार उनकी Nature of Business, Profession & D.O.B. के अनुसार
होना चाहिए वास्तु।
क्या केवल दिशाओं व पंचतत्वों के अनुसार बदलाव करना ही वास्तु है?
क्या एक समान वास्तु सभी के लिए मान्य है,
चाहे वह किसी भी व्यवसाय या पेशे से हो?